सेनेटाइजर का कर रहे है उपयोग तो देखिए ये खास रिपोर्ट
कोरोना वायरस के संक्रमण को देखते हुए फेस मास्क और सेनेटाइजर का इस्तेमाल काफी बढ गया है। लोग वायरस से बचाव के लिए लगातार मास्क और सेनेटाइजर का उपयोग कर रहे है।
इसी बीच सेनेटाइजर के इस्तेमाल को लेकर अफवाहें भी फैल रही है कि सेनेटाइजर के अधिक इस्तेमाल से त्वचा के कैंसर और अन्य बीमारियां होती है।
इस मुद्दे पर भारत की संस्था पीआईबी की फैक्ट चेक टीम ने इन सभी दावों को गलत बताया है। पीआईबी के अनुसार सेनेटाइजर में 70 प्रतिशत एल्कोहल होता है जो किसी भी प्रकार के वायरस के खात्मे के लिए पर्याप्त है। इसके इस्तेमाल से त्वचा से सम्बंधित कोई बीमारी नही होती है।
मगर सेनेटाइजर का इस्तेमाल को लेकर एक रिपोर्ट इसके पहले भी आ चुकी है जिसपर ध्यान देना अतिआवश्यक है।
यूएस सेंटर्स फॉर डिजीज कंट्रोल एंड प्रिवेंशन के अनुसंधानकर्ताओं की एक रिसर्च के मुताबिक सेनेटाइनर के सम्पर्क में आने से बच्चों को पेट दर्द, मिचली आना, उल्टी और आंखों में जलन जैसी समस्या हो सकती है।
रिसर्च के अनुसार 2011 से 2014 के बीच हैंड सेनेटाइजर से प्रभावित बच्चों 70 हजार बच्चों पर अध्ययन किया गया इसमें 12 बच्चों की आंखे भी प्रभावित हुई थी।
इस रिसर्च में ये बात सामने आयी कि 91 प्रतिशत मामलों में सेनेटाइजर का दुष्प्रभाव तब होता जब बच्चों की उम्र 5 वर्ष से कम होती है।
दरअसल सेनेटाइजर एल्कोहल और केमिकल से बना होता है। सेनेटाइजर से हाथ साफ करने के बाद खाते वक्त इस केमिकल शरीर के अंदर जाने की संभावना अधिक होती है जिसके कारण पेट दर्द, आंखों में जलन जैसी समस्या हो सकती है। इसलिए जितना हो सके साबुन का इस्तेमाल करें और बच्चों से सेनेटाइजर को दूर रखें।
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