घाटों के निचली सतह तक गंगा की लहरे खा रही हिचकोले, कई मंदिर डूबे
भारी बारिश के कारण बनारस में गंगा के जलस्तर में लगातार वृद्धि हो रही है। बुधवार को गंगा का जलस्तर 65.78 मीटर दर्ज किए गया है। वहीं, जिला प्रशासन ने गंगा घाटों में वोटिंग में प्रतिबंध लगा दिया है।
कई मंदिर डूबे
भारी बारिश के कारण गंगा घाटों के किनारे बने कई मंदिर डूब गए हैं। गंगा का जलस्तर महज दो रात में गंगा जा स्टार दस फ़ीट के ऊपर बढ़ गया। उफनाई गंगा ने सीढ़ियों को लाँघते मंदिरो को पाने आगोश में ले लिया है। घाट क किनारे बने चेंजिंग रूम तक पानी चढ़ गया है। कई घाटों की निचली सतह की फर्श तक गंगा की लहरें हिचकोले खा रही थीं। खास बात यह है कि गंगा उस पार किनारे नाव नहीं लग पा रही हैं। जलस्तर बढ़ने से किनारे की रेत पानी से भर गई है और नाव पहले ही टिक जा रही है। चेजिंग रूम में पानी भरने से श्रद्धालुओं को परेशानी हुई।
निरीक्षण के आदेश
गंगा के बढ़ते जल स्तर को देखते हुए जिला प्रशासन ने एनडीआरएफ के साथ तहसीलों के एसडीएम को निरीक्षण करने का आदेश दिया गया है। राहत और बचाव कार्यों के लिए 48 नावों को रिजर्व रखा गया है। जिले में पांच कंट्रोल रूम बनाए गए हैं। इंस्पेक्टर नितिन कुमार ने बताया तीन टीमों को दशाश्वमेध घाट, राजेंद्र प्रसाद और अस्सी घाट पर तैनात किया गया है। काशी में डेंजर लेबल 71.26 मीटर निर्धारित है: काशी में गंगा का डेंजर लेबल 71.26 मीटर निर्धारित है और बुधवार 65.78 मीटर दर्ज किए गया है। एनडीआरएफ की पांच टीमों को ऑफिस में रिजर्व रखा गया है। हर टीम के साथ एक एक गोताखोर, रबरबोट, ऑक्सीजन सिलेंडर, रेस्क्यू स्पेस्लिस्ट शामिल हैं।